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🎤 स्वतंत्रता दिवस भाषण – मंच प्रस्तुति के साथ
[शुरुआत में मुस्कुराते हुए, स्पष्ट आवाज़ में]
सम्माननीय प्रधानाचार्य महोदय, आदरणीय शिक्षकगण और मेरे प्यारे साथियों…
[हल्का ठहराव]
सुप्रभात और आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ!
[धीरे-धीरे गंभीर स्वर में]
आज 15 अगस्त का दिन हमें 1947 का वह गौरवशाली क्षण याद दिलाता है,
जब हमारे देश ने वर्षों की गुलामी से मुक्ति पाई थी।
यह आज़ादी… हमें उपहार में नहीं मिली,
यह तो हमारे वीर सपूतों के त्याग और बलिदान का परिणाम है।
[ऊँचे स्वर में जोश भरते हुए]
"शहीदों की चिताओं पर लगेंगे हर बरस मेले,
वतन पर मरने वालों का यही बाकी निशाँ होगा।" [दर्शकों की तरफ देखकर थोड़ी देर रुकें]
[भावुक स्वर में]
साथियों, आज का भारत, आज़ादी के बाद से, हर क्षेत्र में आगे बढ़ा है।
हमने कृषि में हरित क्रांति,
विज्ञान में चंद्रयान और गगनयान जैसी उपलब्धियाँ,
और डिजिटल युग में विश्वस्तरीय पहचान बनाई है।
[मुस्कुराते हुए आत्मविश्वास के साथ]
"कुछ बात है कि हस्ती मिटती नहीं हमारी,
सदियों रहा है दुश्मन दौर-ए-जहाँ हमारा।"
[गंभीर, दृढ़ स्वर में]
हाल ही में, हमारे देश की सेना ने ऑपरेशन सिंदूर को सफलता से पूरा किया।
यह सिर्फ एक मिशन नहीं था,
यह भारत की शक्ति, साहस और अपने नागरिकों के प्रति अटूट समर्पण का प्रतीक था।
हमने दुनिया को दिखा दिया कि भारत शांति चाहता है,
लेकिन अपने लोगों की सुरक्षा के लिए किसी भी हद तक जा सकता है।
[उत्साह के साथ]
आज का भारत बहुमुखी विकास की राह पर है —
शिक्षा, उद्योग, खेल, कला, स्वास्थ्य, अंतरिक्ष, डिजिटल तकनीक—
हर क्षेत्र में भारत नई ऊँचाइयों को छू रहा है।
हमारे खिलाड़ी ओलंपिक में तिरंगा लहरा रहे हैं,
वैज्ञानिक नई खोज कर रहे हैं,
किसान नई तकनीकों से खेती को सशक्त बना रहे हैं।
[गर्व से भरपूर आवाज़]
"जहाँ डाल-डाल पर सोने की चिड़िया करती है बसेरा,
वो भारत देश है मेरा।"
[थोड़ा धीमा, भावुक अंदाज़]
लेकिन… साथियों,
अभी भी हमें भ्रष्टाचार, बेरोजगारी, अशिक्षा और प्रदूषण जैसी चुनौतियों से लड़ना है।
हमें अपने देश को स्वच्छ, समृद्ध, सशक्त और आत्मनिर्भर बनाना है।
[दृढ़ स्वर में]
"न भूलो भारत के वीरों का बलिदान,
उनकी शहादत है हमारा सम्मान।"
[मुट्ठी बांधकर, जोश से]
आओ, इस स्वतंत्रता दिवस पर हम सब मिलकर यह संकल्प लें—
हम मेहनत, ईमानदारी और एकता से भारत को विश्वगुरु बनाएँगे!
[उच्च स्वर में, स्पष्ट और लंबा खींचकर]
जय हिंद! जय भारत!
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